शि.वा.ब्यूरो, मुजफ्फरनगर। मुख्य विकास अधिकारी कंडारकर कमल किशोर देशभूषण ने बताया कि प्रधानमंत्री की एक दूरदर्शी पहल विकसित भारत 2047 के द्वारा भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र के रूप में स्थापित करने के उद्देश्य से समावेशी विकास तकनीकी नवाचार और सतत प्रगति के मिशन को आधारित किया गया है। उन्होंने बताया कि विजन डॉक्यूमेंट के निर्माण की दिशा में समर्थ उत्तर प्रदेश विकसित उत्तर प्रदेश -2047 प्रारंभ किया जा रहा है। इसका उद्देश्य जनमानस में जागरुकता उत्पन्न करना तथा नागरिकों की आकांक्षाओं को संज्ञान में लेते हुये प्रदेश के नागरिको को राज्य के विकास में सहयोगी व सहभागी बनाते हुय गर्व की भावना को विकसित करना है। इसके दृष्टिगत प्रदेश के सेवानिवृत्त आईएएस, सेवानिवृत्त आईपीएस, वन सेवा, कृषि, सिचाई , शिक्षा, स्वास्थ्य, वैज्ञानिक, अभियन्त्रण आदि शासकीय सेवाओं से सेवानिवृत्त वरिष्ठ अधिकारियों, प्रबुद्धजनों को चयन किया गया है।
उन्होंने बताया कि लखनऊ में आयोजित एक दिवसीय ओरिएंटरोन-उन्मुखीकरण कार्यशाला में मुख्यमंत्री के मार्गदर्शन के उपरान्त जनपद में 02 दिवसीय कार्यक्रम 10 व 11 सितम्बर को जनपद में समर्थ उत्तर प्रदेश-विकसित उत्तर प्रदेश -2047 अभियान की जन-जागरुकता हेतु विभिन्न लक्षित समूहो के साथ विगत 08 वर्षों में प्रदेश की विकास यात्रा के सम्बन्ध में अवगत कराया जाऐगा। उन्होंने बताया कि जनपद के विकास हेतु रोड मैप पर चर्चा की जाएगी तथा उनसे फीडबैक प्राप्त किया जाएगा। दो दिवसीय समर्थ उत्तर प्रदेश विकसित उत्तर प्रदेश -2047 कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु सभी संबंधित अधिकारियों को समस्त कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देशित किया गया है।
उन्होंने कहा कि समर्थ उत्तर प्रदेश-विकसित उत्तर प्रदेश जनपद स्तर के साथ-साथ विकास खण्ड स्तर पर श्समर्थ उत्तर प्रदेश-विकसित उत्तर प्रदेश-2047 कार्यकम आयोजित किये जायेगें। उन्होंने बताया कि कार्यक्रम चार पाली में किए जाएंगे, जिसमें पिछले 8 वर्ष की प्रगति, लोगों से अलग-अलग फीडबैक लिया जाएगा। उन्होंने बताया कि हम 2047 तक कैसे विकसित उत्तर प्रदेश विकसित मुजफ्फरनगर को कर सकते हैं इस पर संवाद किया जाएगा।
