शि.वा.ब्यूरो, मुजफ्फरनगर। केन्द्रीय वित्त मंत्रालय और आरबीआई की संयुक्त पहल पर चल रहे राष्ट्रव्यापी अभियान ’आपकी पूंजी, आपका अधिकार’ के तहत विकास भवन में एक मेगा कैम्प आयोजित किया गया, जिसमें विभिन्न बैंकों व बीमा कंपनियों द्वारा 5 करोड़ 21 लाख लावारिस जमा धन को उनके वारिसों को वापिस दिलाया। कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए एलडीएम आफिस द्वारा की गयी मेहनत रंग लाई। एलडीएम आफिस के प्रयासों से जनपद के विभिन्न बैंकों द्वारा संकल्प लिया गया है कि जनपद के 92 करोड़ लावारिस धन को वह उनके वारिसों तक पहुंचाकर ही दम लेंगे। कार्यक्रम में क्रिसिल फाउन्डेशन द्वारा’वित्तीय समावेशन प्रदर्शनी’ भी लगाई गयी थी, जिसमें कार्यक्रम में आने वाले लोागों को उनका पुराना पैसा वापिस पाने का तरीका बताया गया, जिसमें उद्गम पोर्टल के बारे में बताया गया। इसके अलावा सामाजिक सुरक्षा से जुड़ी योजनाओं की भी जानकारी दी गयी।
बतौर मुख्य अतिथि मुख्य विकास अधिकारी कमल किशोर कंडारकर ने कहा कि भारत सरकार और वित्त मंत्रालय द्वारा चलाये जा रहे अभियान ‘आपकी पूंजी, आपका अधिकार’ सराहनीय कदम है। उन्होंने कहा कि इस अभियान से ऐसे लोगों को भी उनका पैसा वापिस मिल पायेगा, जो अपना पैसा वापिस पाने की आस खो बैठे हैं। उन्होंने सभी बैंकर्स व बीमा कंपनियों से आह्वान किया कि जनपद का जितना भी लावारिस धन है, उसे प्रयास करके उनके वारिसों तक पहुंचाया जाये।
भारतीय रिजर्व बैंक के एलडीओ अशोक कुशवाह ने बताया कि वित्तीय सेवा विभाग, वित्त मंत्रालय, आरबीआई , सेबी, आईआरडीएआई और कॉपोर्रेट कार्य मंत्रालय ने संयुक्त रूप से अक्टूबर से दिसंबर 2025 तक तीन महीने का यह विशेष जागरूकता अभियान चलाया हुआ है। उन्होंने कहा कि इसका शुभारंभ 4 अक्टूबर को केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुजरात से किया था। उन्होंने कहा कि इसी कड़ी में आज मुजफ्फरनगर में विशेष कैम्प आयोजित किया गया है। उन्होंने कहा कि इस कैम्प का उद्देश्य जहां लोगों को लावारिस धन वापिस पाने के लिए जागरूक करना था, वहीं पात्र लोगों को ढूंढकर उनके पैसा उनके पास तक वापिस पहुंचाना था। उन्होंने बैंकर्स के कार्य की सराहना की कि उनके प्रयासों से लगभग 5 करोड़ 21 लाख रूपया उनके वारिसों तक पहुंच पाया है। उन्होंने उद्गम पोर्टल के बारे में जानकारी दी, जिसके माध्यम से माध्यम से अपनी खोई या भूली हुई संपत्तियों को खोजने, रिकॉर्ड अपडेट करने और दावा करने की पूरी प्रक्रिया में चरणबद्ध मदद मिलती है।
अग्रणी जिला प्रबंधक अनिल कुमार सिंह ने कहा कि लोगों का जो लावारिस पैसा रिजर्व बैंक के पास पड़ा हुआ है यदि वह पैसा उसके वारिसों के पास वापिस पहुंच जायेगा, तो उससे न केवल जनपद की इकोनमी मजबूत होगी, बल्कि देश की आर्थिक स्थिति भी मजबूत होगी। उन्होंने कहा कि यदि अकेले मुजफ्फरनगर की बात की जाये, तो जनपद का 92 करोड़ लावारिस धन रिजर्व बैंक के पास है और इसमें भी अधिकतर पैसा सरकारी विभागों का है। उन्होंने मुख्य विकास अधिकारी से आग्रह किया कि वह सरकारी विभागों के ऐसे पैसे को चिन्हित कराकर, उसमें जो फार्मेलिटी है, पूरी करा दें, ताकि इस धन को वापिस उनके विभागों को भेजा जा सके। उन्होंने कहा कि उनके द्वारा जनपद के सभी बैंकों के सहयोग से ऐसे लावारिस धन को वापिस कराने के लिए अभियान चलाया जा रहा है।
पीएनबी के सर्किल हेड राजेन्द्र पॉल लने कहा कि शिविर में केवल बैंक खातों की ही नहीं, बल्कि वित्तीय जगत की हर उस संपत्ति का निस्तारण किया जा रहा है, जिस पर लंबे समय से किसी ने दावा नहीं किया है। इसमें मुख्य रूप से वर्षों से निष्क्रिय पड़े बैंक जमा खाते, पुरानी बीमा पॉलिसियां जिनका पैसा क्लेम नहीं किया गया, कंपनियों के लाभांश और शेयर, म्यूचुअल फंड की पुरानी आय, पेंशन से जुड़ी बिना दावे वाली राशियाँ शामिल हैं।
अभियान में मुजफ्फरनगर के सभी बैकों ने अपने आहूति दी, जिसमें एलआईसी ने अकेले 2.61 करोड़ का लावारिस धन उसके वारिसों को वापिस दिलाया, वहीं पीएनबी ने भी 1 करोड़ 74 लाख रूपया उनके वारिसों को दिलाया। इसके अलावा अन्य बैंकों द्वारा भी अपना योगदान दिया गया। वित्तीय साक्षरता के लिए रिजर्व बैंक द्वारा चलाये जा रहे मनीवाईज वित्तीय साक्षरता केन्द्र खतौली का भारतीय रिजर्व बैंक के एलडीओ अशोक कुशवाह व एलडीएम अनिल कुमार सिंह द्वारा औचक निरीक्षण किया गया। इस दौरान दोनों अधिकारियों द्वारा सीएफएल कीर कार्यप्रणाली को समझते हुए उसके दस्तावेज चेक किये। दोनों अधिकारियेां द्वारा सीएफएल स्टॉफ द्वारा किये जा रहे कार्य की सराहना की। इस दौरान क्रियिल फाउन्डेशन की कैपिसिटी बिल्डिंग आफिसर शीज़ा खानम, सेन्टर मैनेजर मोहित ठाकुर, चिकी, एफएलसी हेमन्त कुमार त्यागी व अनूप सिंह मौजूद रहे।
कार्यक्रम का संचालन वरिष्ठ प्रबंधक प्रभात कुमार ने किया। कार्यक्रम में वरिष्ठ प्रबन्धक अरविन्द सिंह, प्रबन्धक संजय कुमार शर्मा, क्रिसिल फाउन्डेशन की कैपिसिटी बिल्डिंग आफिसर शीजा खानम, सेन्टर मैनेजर मोहित ठाकुर, एफसी वसीम अहमद, एफएलसी हेमन्त त्यागी, अनिल कुमार, अनूप सिंह का विशेष योगदान रहा।

